- गरीबों के लिए ऋण माफी जरूरी : डॉ. अमन
सुपौल। सदर प्रखंड के अमहा पंचायत के लतराहा गांव में लोन माफी आंदोलन के तहत संकल्प सभा आयोजित की गई, जिसमें कर्ज से दबे दर्जनों परिवारों ने भाग लिया। सभा की अध्यक्षता लोरिक विचार मंच के प्रदेश संयोजक डॉ. अमन कुमार ने की। उन्होंने कहा कि सरकार बड़े उद्योगपतियों का अरबों रुपये का कर्ज माफ कर रही है, लेकिन गरीब, महिला, किसान, मजदूर और बेरोजगार छात्रों के कर्ज पर कोई राहत नहीं दी जा रही है।
डॉ. कुमार ने कहा कि 22 उद्योगपतियों का 16 लाख करोड़ रुपये का कर्ज माफ कर दिया गया, जबकि गरीबों को कर्ज में डूबने के लिए छोड़ दिया गया है। उन्होंने माइक्रो फाइनेंस कंपनियों पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि ये कंपनियां गरीबों का शोषण कर रही हैं और 12 से 42 प्रतिशत तक का भारी ब्याज वसूल रही हैं।
सभा में बताया गया कि कर्ज के बोझ से कई गरीब परिवार घर छोड़कर पलायन करने को मजबूर हैं, तो कई आत्महत्या करने की कगार पर हैं। वक्ताओं ने कहा कि आरबीआई के दिशानिर्देशों के बावजूद फाइनेंस कंपनियां और रिकवरी एजेंट गलत तरीकों से कर्ज वसूली कर रहे हैं। यहां तक कि आधी रात में भी कर्जदार महिलाओं को फोन कर धमकाया जाता है, जो पूरी तरह अन्यायपूर्ण है।
इस आंदोलन में प्रदीप शर्मा, सुरेन्द्र पासवान, मुकेश यादव, शांति देवी, सपना देवी, प्रियंका विश्वकर्मा, आशा देवी, गुंजन देवी, सोनी देवी, काजल कुमारी, मंजू देवी, संगीता देवी, खुशबू देवी, माया देवी, संचिता कुमारी, रूपम कुमारी, सीता देवी, सविता देवी, नीरो देवी, भुला देवी समेत बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए।
संकल्प सभा में सरकार से मांग की गई कि गरीबों के कर्ज को माफ किया जाए और माइक्रो फाइनेंस कंपनियों की मनमानी पर रोक लगाई जाए। आंदोलनकारियों ने चेतावनी दी कि यदि सरकार जल्द ही कोई ठोस कदम नहीं उठाती, तो वे उग्र आंदोलन करने को मजबूर होंगे।
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