सुपौल। त्रिवेणीगंज में स्वास्थ्य व्यवस्था एक बार फिर सवालों के घेरे में है। क्षेत्र में एक ओर घटना सामने आई है, जहां एम्बुलेंस नहीं मिलने के कारण एक महिला को ई रिक्शा में प्रसव करना पड़ा और नवजात की मौत हो गई। मामला जदिया थाना क्षेत्र के रघुनाथपुर वार्ड नंबर 2 का है, जहां स्थानीय निवासी मो. मुजाहिर की पत्नी कदीना खातून को बुधवार की सुबह प्रसव पीड़ा हुई।
परिजनों ने आशा कार्यकर्ता से संपर्क कर एम्बुलेंस की मांग की, लेकिन एम्बुलेंस के लिए कोई मदद नहीं मिली। आशा कार्यकर्ता ने डायल 102 पर कॉल किया, लेकिन वहां से कोई रिस्पॉन्स नहीं मिला। करीब आधे घंटे बाद जब कॉल रिसीव हुआ, तो डायल 102 कर्मी ने कहा कि वे आधे घंटे बाद पहुंचेंगे। प्रसव पीड़िता की स्थिति बिगड़ती जा रही थी, इसलिये परिजनों ने उसे ई रिक्शा से त्रिवेणीगंज अनुमंडलीय अस्पताल लाने का फैसला किया।
रास्ते में ही महिला ने ई रिक्शा में ही एक नवजात को जन्म दिया, लेकिन दुर्भाग्यवश नवजात की मौत हो गई। नवजात की मौत के बाद परिजन महिला को अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां अस्पताल कर्मियों ने नवजात का प्लेसेंटा रिमूव किया और बाकी आवश्यक प्रक्रिया पूरी की।
इस घटना पर क्षेत्र की आशा कार्यकर्ता रंजना कुमारी ने भी कहा कि यदि समय पर एम्बुलेंस मिल जाती, तो नवजात की जान बचाई जा सकती थी। वहीं, त्रिवेणीगंज अनुमंडलीय अस्पताल में ड्यूटी पर मौजूद एएनएम गीता कुमारी ने बताया कि मरीज़ सुबह 8 बजे अस्पताल पहुंची, जहां उसे ऑटो में प्रसव हो गया था और नवजात की मौत हो चुकी थी।
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